Bajaj Finance के Q4 नतीजों का बाजार पर असर
Bajaj Finance के शेयर पिछले कुछ महीनों से बहुत उतार-चढ़ाव के दौर से गुजर रहे हैं। मार्च 2025 में कंपनी के शेयरों में 3% की बढ़त दर्ज हुई थी, लेकिन Q4 नतीजों के आने के बाद शेयर 5.5% तक गिर गए। कंपनी ने चौथी तिमाही (Q4 FY25) में 19% की वार्षिक बढ़त के साथ ₹4,546 करोड़ का शुद्ध लाभ दर्ज किया। यह लाभ मुख्यतः मजबूत कर्ज वितरण और एक्टिव लोन बुक की वजह से आया।
अगर आंकड़ें देखें, तो Bajaj Finance का नेट इंटरेस्ट इनकम (NII) 22% बढ़कर ₹9,807 करोड़ हो गया। कंपनी की संपत्तियां (AUM) भी 26% बढ़कर ₹4.16 लाख करोड़ तक पहुंच गईं। इसके साथ ही, नए कर्ज वितरण में जबरदस्त 36% की सालाना उछाल देखी गई और कंपनी ने इस तिमाही में 10.7 मिलियन नए लोन दिए।
कई निवेशकों के लिए एक और राहत की बात रही कंपनी के बोर्ड द्वारा घोषित किया गया 1:2 स्टॉक स्प्लिट और 4:1 बोनस इश्यू। बोर्ड ने ₹12 का स्पेशल डिविडेंड और ₹44 प्रति शेयर का फाइनल डिविडेंड भी मंजूर किया। इससे छोटे निवेशकों को भी शेयर होल्डिंग बढ़ाने के मौके मिलेंगे और मार्केट लिक्विडिटी को बढ़ावा मिलेगा।

नतीजों के बाद क्यों गिरे शेयर, ब्रोकरों की राय
आश्चर्य की बात यह रही कि इतने सभी सकारात्मक एलानों और रिकॉर्ड आंकड़ों के बावजूद, Q4 के नतीजों के बाद Bajaj Finance के शेयर लगभग 5.5% टूट गए। इसके दो बड़े कारण रहे: कंपनी की 2026 के लिए ग्रोथ गाइडेंस हल्की पड़ गई है—AUM ग्रोथ अनुमान 25-27% से घटकर 24-25% रह गया। दूसरा, क्रेडिट कॉस्ट भी पहले से कुछ बढ़ गया, जिससे निवेशकों में चिंता आई कि आगे प्रॉफिट ग्रोथ दबाव में रह सकती है।
ब्रोकरेज फर्म्स ने मार्च 2025 की तेजी के समय भविष्य को लेकर रेडार पर बुलिश रुख दिखाया था, लेकिन ताजा नतीजों के बाद कई एनालिस्ट अब सतर्क नजर आ रहे हैं। किसी ने इस गिरावट को लॉन्ग टर्म के लिए निवेश का अवसर बताया, तो किसी ने कहा कि अब शेयर में तेजी का दायरा सीमित हो सकता है। एनालिस्ट प्रोजेक्शन के हिसाब से, कंपनी की नेट इंटरेस्ट मार्जिन स्थिर है और 2026 के लिए रिटर्न ऑन इक्विटी (RoE) अनुमान 19-20% रखा है। हालांकि, हाई वैल्यूएशन और कमजोर ग्रोथ आउटलुक को देखते हुए कई सलाहकार अब शेयर पर तटस्थ या सीमित बढ़त वाले रुख की सिफारिश कर रहे हैं।
अगर तकनीकी नजर से देखें, तो Bajaj Finance लंबे समय से निवेशकों के भरोसेमंद विकल्प रहा है। लेकिन हाल के बदलाव, शेयर स्प्लिट और बोनस के बावजूद, अब बाजार की नजर लोन ग्रोथ और जोखिम प्रबंधन पर टिक गई है। कंपनी की रणनीति और आगे का नया मार्गदर्शन आने वाले महीनों में शेयर की दिशा तय करेगा।